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पान मसाला, सिगरेट और गुटखा पर 40% टैक्स, महंगा होगा सेवन – देखें पूरी लिस्ट, 22 सितंबर से होंगे लागू

नईदिल्ली 
 जीएसटी काउंसिल की 56वीं बैठक में बड़ा टैक्स सुधार किया गया है। अब GST स्लैब को सिर्फ दो हिस्सों में बांट दिया गया है – 5% और 18%, यानी पहले के 12% और 28% स्लैब को हटा दिया गया है और उनमें शामिल वस्तुओं को इन दो नए स्लैब्स में समायोजित किया गया है।

लेकिन इस बीच कुछ खास और हानिकारक वस्तुओं पर अब सीधा 40% स्पेशल जीएसटी लगाया जाएगा।

 किस चीज पर लगेगा 40% 'Special GST'?

जीएसटी काउंसिल ने तय किया है कि कुछ हाई रिस्क या हाई लग्जरी कैटेगरी की वस्तुओं पर अब अलग से कोई सेस या उपकर नहीं लगेगा, बल्कि सीधे 40% जीएसटी ही लिया जाएगा। ये एक तरह से "सिन टैक्स" की श्रेणी में आएगा — यानी ऐसी चीजें जो सेहत या समाज के लिए हानिकारक मानी जाती हैं।

40% टैक्स वाली चीजों की पूरी लिस्ट:

    पान मसाला
    
    सिगरेट

    गुटखा

    चबाने वाला तंबाकू (खैनी, ज़र्दा आदि)

    तंबाकू उत्पादों की री-प्रोसेसिंग यूनिट्स में बनने वाले उत्पाद

    ऐडेड शुगर वाले और कार्बोनेटेड ड्रिंक्स (Soft Drinks, Energy Drinks आदि)

    फास्ट फूड चेन के कुछ हाई-प्रोसेस्ड आइटम्स (बर्गर, नूडल्स, आदि)

    सुपर लग्जरी आइटम्स

    पर्सनल यूज़ वाले एयरक्राफ्ट (Private Jets, Helicopters)

    हाई-एंड लग्जरी कारें (जैसे – स्पोर्ट्स कार, प्रीमियम SUVs)

22 सितंबर से होंगे लागू

मोदी सरकार ने वस्तु एवं सेवा कर (GST) व्यवस्था में बड़ा बदलाव करते हुए अब सिर्फ दो मुख्य टैक्स स्लैब रखने का फैसला किया है। जीएसटी परिषद की बैठक में यह निर्णय लिया गया है कि अब सिर्फ 5 प्रतिशत और 18 प्रतिशत के दो ही स्लैब लागू होंगे। ये सभी घोषणाएं 22 सितंबर से पूरे देश में लागू हो जाएगी।
12% और 28% वाले स्लैब खत्म

इस फैसले के बाद, पहले से चले आ रहे 12 प्रतिशत और 28 प्रतिशत वाले स्लैब को खत्म कर दिया गया है। इससे कई वस्तुओं की कीमतों पर सीधा असर पड़ेगा। माना जा रहा है कि इस बदलाव से जीएसटी प्रणाली और भी सरल हो जाएगी और आम जनता को इसका लाभ मिलेगा।
लग्जरी और तंबाकू उत्पादों पर 40% GST

हालांकि, लग्जरी सामान और तंबाकू उत्पादों पर लगने वाली जीएसटी दर में बढ़ोतरी की गई है। इन उत्पादों पर अब 40 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगेगा। सरकार का यह कदम लग्जरी और हानिकारक वस्तुओं की खपत को कम करने की दिशा में देखा जा रहा है। 

22 सितंबर से क्या-क्या होगा सस्ता? (GST दरें घटाई गईं)
वस्तु/सेवा     नई GST दर
दूध, रोटी, पनीर, घी     5%
बिस्किट, सॉस, पास्ता     5%
सूखे मेवे, पिज़्जा ब्रेड     5%
ऑक्सीजन, ग्लूकोमीटर, मेडिकल टेस्ट किट     0% (टैक्स फ्री)
जीवनरक्षक दवाएं, पट्टियां     5%
साबुन, शैम्पू, टूथपेस्ट     5%
मोमबत्ती, खिलौने, फर्नीचर     5%
सोलर और विंड एनर्जी डिवाइसेस     5%
बायोगैस उपकरण     5%
टेक्सटाइल्स, टीवी, सीमेंट     5% या 18% (आइटम के अनुसार)
छोटी कारें, बाइक्स (कम्यूटर व्हीकल)     18%

तंबाकू और सिगरेट जैसी कुछ चुनिंदा वस्तुओं पर 40 प्रतिशत के विशेष स्लैब
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने दिन भर चली जीएसटी परिषद की बैठक में लिए गए निर्णय के बारे में मीडिया को जानकारी देते हुए कहा, ‘‘सभी फैसले सर्वसम्मति से किए गए और किसी भी राज्य से कोई असहमति नहीं थी।'' परिषद ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) को मौजूदा चार स्लैब… पांच, 12, 18 और 28 प्रतिशत से दो दरों… पांच और 18 प्रतिशत करने को मंजूरी दे दी। महंगी कार, तंबाकू और सिगरेट जैसी कुछ चुनिंदा वस्तुओं पर 40 प्रतिशत के विशेष स्लैब का प्रस्ताव किया गया है। 

वस्तु नई टैक्स दर
पान मसाला, सिगरेट, गुटखा, तंबाकू 40%
एडेड शुगर वाले कोल्ड ड्रिंक्स, एनर्जी ड्रिंक्स 40%
फास्ट फूड चेन के कुछ प्रोसेस्ड आइटम्स 40%
प्राइवेट जेट्स, हेलिकॉप्टर (पर्सनल यूज) 40%
लग्जरी कारें, बड़ी SUV कारें 40%

मक्खन और घी से लेकर सूखे मेवे तक ये वस्तुएं होंगी सस्ती
दैनिक उपयोग की खाद्य वस्तुओं पर कर की दर शून्य होगी, जबकि मक्खन और घी से लेकर सूखे मेवे, कंडेंस्ड दूध, सॉसेज और मांस, चीनी से बनी कन्फेक्शनरी, जैम और फलों की जेली, नारियल पानी, नमकीन, 20 लीटर की बोतल में पैक पेयजल, फलों का गूदा या रस, दूध युक्त पेय पदार्थ, आइसक्रीम, पेस्ट्री और बिस्कुट, कॉर्नफ्लेक्स और अनाज तथ चीनी से बनी मिठाइयों पर कर की दर को मौजूदा के 18 प्रतिशत से घटाकर पांच प्रतिशत किया जाएगा। सभी प्रकार की चपाती और पराठे पर कर की दर शून्य होगी। इस पर फिलहाल पांच प्रतिशत जीएसटी लगता है। ‘टूथ पाउडर', दूध की बोतलें, रसोई के बर्तन, छाते, बर्तन, साइकिल, बांस के फर्नीचर और कंघी जैसी उपभोक्ता वस्तुओं पर कर की दर 12 प्रतिशत से घटकर पांच प्रतिशत होगी। शैम्पू, टैल्कम पाउडर, टूथपेस्ट, टूथब्रश, फेस पाउडर, साबुन और हेयर ऑयल पर कर की दरें 18 प्रतिशत से घटाकर पांच प्रतिशत कर दी गई हैं। 

इन वाहनों पर लगेगा 40 प्रतिशत की दर से टैक्स
सीतारमण ने कहा कि जीएसटी परिषद ने व्यक्तिगत जीवन बीमा और स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी के प्रीमियम भुगतान पर जीएसटी को हटाने का फैसला किया है। इससे लोगों के लिए बीमा पॉलिसी लेना सस्ता हो पाएगा। जीएसटी परिषद ने सीमेंट पर कर की दर को 28 प्रतिशत से घटाकर 18 प्रतिशत कर दिया है। इसके अलावा 1,200 सीसी तक के पेट्रोल वाहनों और 1,500 सीसी तक के डीजल वाहनों (4,000 मिलीमीटर तक लंबाई) पर भी जीएसटी दर को 28 प्रतिशत से घटाकर 18 प्रतिशत कर दिया गया है। हालांकि 1,200 सीसी से अधिक क्षमता वाले पेट्रोल वाहनों और 1,500 सीसी से बड़े डीजल वाहनों पर अब 40 प्रतिशत की दर से कर लगेगा। 

कंडीशनर, डिशवॉशर और टीवी समेत इन इलेक्ट्रॉनिक चीजें भी होंगी सस्ती 
सीतारमण ने कहा कि 350 सीसी तक की मोटरसाइकिलें और एयर कंडीशनर, डिशवॉशर एवं टीवी जैसे उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक उत्पादों पर भी कर घटाकर 18 प्रतिशत कर दिया गया है। हालांकि, 350 सीसी से अधिक क्षमता वाली मोटरसाइकिल, याट, निजी उपयोग वाले विमान और रेसिंग कारों पर 40 प्रतिशत की विशेष दर से जीएसटी लगेगा। वहीं, इलेक्ट्रिक वाहनों पर जीएसटी दर पहले की तरह पांच प्रतिशत ही बनी रहेगी। 

राजस्व सचिव अरविंद श्रीवास्तव ने बताया कि जीएसटी दरों में बदलाव से पड़ने वाला वित्तीय प्रभाव करीब 48,000 करोड़ रुपये का होगा लेकिन राजकोषीय नजरिये से इसका कोई खास असर नहीं होगा। सरकार ने वित्त वर्ष 2023-24 में स्वास्थ्य और जीवन बीमा पर जीएसटी से 16,398 करोड़ रुपये का कर राजस्व जुटाया था। इसमें जीवन बीमा से 8,135 करोड़ रुपये और स्वास्थ्य बीमा से 8,263 करोड़ रुपये जुटाए गए थे। इसके अलावा पुनर्बीमा पर भी 2,045 करोड़ रुपये की जीएसटी वसूली हुई थी। 

सीतारमण ने कहा कि तंबाकू, गुटखा और सिगरेट पर 28 प्रतिशत जीएसटी के साथ क्षतिपूर्ति उपकर का प्रावधान तब तक जारी रहेगा जब तक राज्यों को राजस्व घाटे की भरपाई को लेकर लिये गए कर्ज की अदायगी पूरी नहीं हो जाती। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में कर ढांचे को सरल बनाने का ऐलान किया था। उसी घोषणा के अनुरूप जीएसटी परिषद ने कर दरों में व्यापक बदलाव को मंजूरी दी है।

 

 

 

 

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